गायें आपसे प्रेम चाहती हैं :-
गायों के आलिंगन का पवित्र भाव हमें माँ के प्रेम का अहसास करवा देता है:
गुरुदेव श्री आशुतोष महाराज जी ने गौ प्रेम के विषय में कहा:
देसी गोपालन बहुत बातों को सिखाता है, हमने गुरुदेव श्री आशुतोष महाराज जी के सानिध्य में रहकर यह जाना कि गौ माता को बाकी सब चीज़ों के इलावा प्रेम की भी आवश्यकता होती है। सज्जनों, गौ माँ आपसे सिर्फ चारे की उम्मीद नहीं रखती, वो तो आपका पूरा समर्पण चाहती है।
गायों को कभी डंडा न मारें
गौपालन से जुड़े कुछ लोग गायों को पशु समझ डंडा मारते हैं या उन्हें डांटते हैं। जहाँ ऐसा होता है वहां गायों के मुखमंडल पर प्रसन्नता के भाव नजर नहीं आते। ऐसे स्थानों पर गायें डरी-डरी सी जीवन व्यतीत करती हैं। जिस स्थान पर गायें डर के माहौल में रहती हैं वहां हमें अमृततुल्य दूध की प्राप्ति कैसे हो सकती है। आप यह नियम बना लें कि हम कभी भी अपनी गौ माताओं को डंडा नहीं मारेंगे। मेरे गुरुदेव जी ने तो हमें यहां तक कहा हुआ है कि कभी भी गायों को डंडा नहीं मारना, बेशक वह अपना दिया हुआ सारा दूध ही क्यों ना गिरा दें। जिस दिन गौमाता दूध गिरा देती हैं उस दिन समझें वो दूध हमारे पीने लायक ही नहीं होता। हिंसा से लिया गया दूध हमें कभी भी स्वस्थ नहीं होने देगा। अगर आपको हमारी बात पर यकीन नहीं हो रहा तो आप अपने घर में गायों के बीच में इस बात को सिद्ध करने के लिए एक ट्रेल करके देख लें। कुछ दिन आप गायों को दुलारना बंद कर दें और अपने हाथ में डंडा लेकर उनको मारना शुरू कर दें। दो-चार दिनों में ही आपको परिणाम पता लग जाएंगे। गायों का दूध कम हो जाएगा, उनके चेहरे से प्रसन्नता के भाव लुप्त हो जाएंगे। गायें आपसे डरने लगेगी। आप खुद भी अशांत हो जायेगे।
प्रभु का हर जीव प्रेम का भूखा होता है, हमने कई बार टेलीविजन में देखा है कि प्रेम की भाषा से लोगों ने शेरों को भी अपने आधीन कर लिया है। अगर जंगल के राजा सिंह को प्रेम से वश में किया जा सकता है तो गौ माता को क्यों नहीं।
कई गौ भक्तों ने बताया कि गौमाता हमारे अंदर चल रहे विचारों को भी पकड़ लेती हैं, जब कभी आप कोई परेशानी महसूस करें तो आप अपनी गायों के पास चले जाएं, आप पाएंगे कि गौमाता आपके पास आ जाएगी और आपको चाटने लगेगी, वह आपको परेशानी से उबारने के लिए हर संभव प्रयास करेंगी। गौमाता बेजुबान नहीं है, वह सब समझती है।
गायों को प्रसन्न रखने के कुछ सुझाव
गायों को प्रसन्न करने के लिए आप कई तरह के प्रयास कर सकते हैं। आजकल कई कंपनियों ने ऐसी मशीनों का निर्माण किया है जिनके अंदर मोटर और सेंसर लगे होते हैं। जब गायें उनके पास जाती हैं तो उन मशीनों के ब्रश खुद-ब-खुद चलने लग जाते हैं। वो ब्रश गायों को खुजलाने लगते हैं। ऐसा होने से गौ माँ बहुत प्रसन्न हो जाती हैं। अगर किसी कारणवश आप ऐसी मशीनें ना खरीद पाए तो आप छोटे ब्रश खरीद सकते हैं जिनको ”खरखरा” कहते हैं। आप उस खरखरे को हाथों में लेकर दिन में एक या दो बार गायों के पीठ पर खुजली कर सकते हैं।
अगर आपको नंदी से डर लगता है तो आप खरखरे को हाथों में लेकर नंदी को खुजलाना शुरू कर दें, एक या दो दिन में नंदी आपका दोस्त बन जाएगा। अगर गौ माता आपको प्रेम से चाट रही हो तो उसे चाटने दें, क्योंकि उसके पास अपने प्रेम का इजहार करने के लिए एकमात्र जीभ ही उपलब्ध है। कभी-कभी आपने देखा होगा कि गौ माता जब आपको प्रेम कर रही होती है तो उसकी आंखों से अश्रु बहते हैं, यह अश्रु उसके प्रेम का प्रगटीकरण ही होते हैं। गौ माता की मूक भाषा को सुनने का प्रयास करें, कोई तो कारण रहा होगा कि भगवान श्री कृष्ण गौ माताओं के बीच जाकर अपना सारा दिन बिता दिया करते थे। उन्हें दुलारते थे, प्रेम करते थे और बदले में गौमाता उन पर अपना प्रेम लुटाया करती थी।
- आएं हम प्रभु के इस पावन, सुंदर और विनम्र जीव को अपने गले से लगाएं।
- आएं प्रण लें कि आज के बाद हम कभी भी अपनी गायों को डंडा नहीं मारेंगे।
- आएं प्रण लें कि आज के बाद हम दिन में एक या दो बार अपनी गायों के पास जाकर उन्हें दुलारेंगे।
इस लेख को अंत तक पढ़ने के लिए आपका बहुत-बहुत धन्यवाद।
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गौ माता जय गोपाल
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बहुत बढ़िया आर्टिकल है पढ़ कर जी हिलोरे मार रहा है ����
Awesome, Superb, you are number 1. Great going.
बहुत-बहुत आभार, आपने बहुत अच्छा लिखा है
बहुत सुंदर जानकारी, अपने अनुभव साझा करने के लिए बहुत बहुत धन्यवाद भैया जी। मेरी इच्छा है कि मैं भी जैविक खेती, गोपालन, वैदिक शिक्षा और वैज्ञानिक अनुसंधान के बढ़ावे के लिए कार्य करूँ। भारत आने पर आपसे विचार करूँगा। जय श्रीराम????
Its allwith my Gurudev grace.
Bahut sunder.Ham sab ko apni gomata se prem karna chahiye kyo ki ye to jeevan bhar doodh pilane wali mata hai.Jai Gomata jai gopal.
आपके डिस्टीबयुटर सीमन की डोज महंगी देते है जी
kitne paise me dete hain? aur kis bull ki?
बहुत प्रेम करते हैं हम अपने गायों से साहिवाल फार्म ढीगा वाली पंजाब
bahut acchi baat hai ji.
I appreciate you sharing this blog article. Thanks Again. Keep writing. Jacquetta Winnie Connel
Welcome brother.